गाँधी जी की कही-लिखी बातें लगभग सौ से अधिक किताबें में दर्ज है। घर के काम, बीमारों की सेवा, आगंतुकों से बातचीत आदि ढेरों काम करने के बाद गाँधी जी को लिखने का समय कब मिलता होगा? गाँधी जी का एक दिन कैसे गुजरता होगा, इस पर अपनी कल्पना से लिखो।

इस पाठ के आधार पर इतना तो साफ है कि गांधी जी की दिनचर्या बहुत व्यस्त रहती होगी। वह सुबह जल्दी उठते होंगे और सबसे पहले अपना बिस्तर ठीक करते होंगे। इसके बाद कुछ देर टहलते होगे। इसके बाद योगा करते होंगे। योगा करने के बाद आश्रम के लोगों से मुलाकात करके कुएं से पानी भरने का काम करते होंगे। दिन भर काम से बाहर रहते होंगे जिसमें रैली से लेकर जन संपर्क भी शामिल है। इसके बाद आगंतुकों से मिलना और साथ में गेहूं बीनने का कार्य चलता रहता होगा। दोपहर का खाना वे कभी-कभी स्वयं ही सबको परोसते होंगे। शाम को राजनीतिक सम्मेलनों तथा सभाओं का कार्य देखते होंगे और रात में गांधी जी लिखने का कार्य करते होंगे। इस तरह से वह अपना पूरा दिन बिताते होंगे।


2